बड़ी खबर : हीरों के विशाल भण्डार वाली बंदर खदान की नीलामी में शामिल निवेशक पहुँचे पन्ना, बोली लगाने के पूर्व खदान से निकले हीरों का पुनः कर रहे अवलोकन एवं अध्ययन

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सांकेतिक फोटो।

* पन्ना के नवीन संयुक्त कलेक्ट्रेट भवन में लगी हीरों की एग्जिबिशन

* 10 से 13 अक्टूबर तक हर दिन एक कम्पनी के प्रतिनिधि करेंगे हीरों की जाँच-परख

* पहले दिन एनएमडीसी लिमिटेड के प्रतिनिधियों को कराया गया हीरों का अवलोकन

* बहुराष्ट्रीय कम्पनी रियो टिंटो ने बंदर खदान में मिले हीरे पन्ना में कराए थे जमा 

शादिक खान, पन्ना।(www.radarnews.in) मध्य प्रदेश के छतरपुर जिले की बक्स्वाहा तहसील में स्थित बेशकीमती रत्न हीरों के विशाल भण्डार वाली बंदर हीरा खदान की नीलामी प्रक्रिया पिछले कई माह से जारी है। करीब 34.20 मिलियन कैरेट हीरों के इस भण्डार अपना बनाने की तमन्ना रखने वाली दिग्गज कंपनियां इसके लिए बोली लगाने से पूर्व इस खदान से निकले हीरों की क्वॉलिटी का बारीकी से अवलोकन एवं अध्ययन पर विशेष जोर दे रहीं है। इसमें शामिल कंपनियों की माँग पर उनके प्रतिनिधियों को पूर्ण संतुष्टि एवं पारदर्शिता के साथ बंदर खदान के हीरों को देखने-परखने का अवसर मुहैया कराने के उद्देश्य पन्ना के नवीन संयुक्त कलेक्ट्रेट भवन में कड़ी सुरक्षा के बीच पुनः हीरों की अवलोकन एवं अध्ययन कार्यशाला आयोजित की जा रही है।
निवेशकों के अध्ययन-अवलोकन हेतु कार्यशाला में रखे गए हीरों को व्यवस्थित प्रदर्शित करते अधिकारी।
गुरुवार 10 अक्टूबर से शुरू होकर 13 तक चलने वाली हीरों की प्रदर्शनी सह कार्यशाला का आयोजन मध्य प्रदेश शासन के खनिज साधन विभाग के निर्देशानुसार जिला प्रशासन पन्ना के द्वारा किया जा रहा है। पूर्व में करीब 10 वर्ष तक बंदर खदान में हीरों के अन्वेषण (खोज) के दौरान बहुराष्ट्रीय कंपनी रियो टिंटो को 2700 कैरेट वजन के कच्चे हीरे मिले थे, जिन्हें इस कार्यशाला में रखा गया है। चार दिनों तक चलने वाली प्रदर्शनी सह कार्यशाला में हर दिन एक कंपनी के लिए आरक्षित किया गया है। पूर्व घोषित कार्यक्रम के अनुसार गुरुवार को एनएमडीसी लिमिटेड के प्रतिनिधियों द्वारा पन्ना के नवीन संयुक्त कलेक्ट्रेट भवन में हीरों का अवलोकन एवं अध्ययन किया गया।

2761 कैरेट वजन के हीरे रखे गए

जिला हीरा एवं खनिज अधिकारी पन्ना आर. के. पाण्डेय ने बताया कि कार्यक्रम के अनुसार आगामी दिवसों में क्रमशः अडानी इन्टर प्राइवेट लि. अहमदाबाद, एस.एल. माइनिंग एण्ड आदित्य बिड़ला ग्रुप तथा वेदांता लिमिटेड के प्रतिनिधि हीरों का अवलोकन एवं अध्ययन करेंगे। अध्ययन कर कार्य प्रतिदिन प्रातः 11 बजे से शाम 5 बजे तक किया जाएगा। जिला हीरा अधिकारी श्री पाण्डेय ने बताया कि कार्यशाला का संचालन सचिव खनिज विभाग मध्यप्रदेश शासन नरेन्द्र सिंह परमार के द्वारा किया जा रहा है। आपने बताया कि इस कार्यशाला में छतरपुर जिले में स्थित हीरा खनिज खण्ड बकस्वाहा से रियो टिंटो कंपनी को अन्वेषण के दौरान प्राप्त लगभग 2761 कैरेट वजन के 63 नग विभिन्न तरह के हीरों को निवेशकों के अध्ययन-अवलोकन हेतु रखा गया है।

विशेषज्ञों के द्वारा दी जा रही जानकारी

पन्ना में गुरुवार से शुरू हुई हीरों की चार दिवसीय अध्ययन-अवलोकन कार्यशाला में निवेशकों को जानकारी देने के लिए उपस्थित खनिज विभाग के विशेषज्ञ।
उल्लेखनीय है कि इसके पूर्व 20 अगस्त 2019 को पन्ना के महेन्द्र भवन में बंदर खदान के हीरों की एग्जिबिशन लगाकर निवेशकों को हीरों का अवलोकन एवं अध्ययन कराया गया था। जिसमें कुल छः कंपनियों- अडानी इंटरप्राइजेज लिमिटेड, अरविंदो रियलटी इंफ्रास्ट्रक्चर प्रायवेट लिमिटेड, एस्सेल माइनिंग, फ्यूरा, वेदांता ग्रुप, एनएमडीसी लिमिटेड के प्रतिनिधि शामिल हुए थे। लेकिन दूसरी बार इन हीरों को देखने-परखने के सिर्फ चार कंपनियों के प्रतिनिधियों ने रूचि दिखाई है।
छतरपुर जिले में स्थित बंदर हीरा ब्लॉक का मानचित्र।
दरअसल, पहली बार निवेशकों को हीरों का अध्ययन-अवलोकन करने के लिए एक घण्टे से भी कम का समय मिला था। निवेशक इससे संतुष्ट नहीं हुए। इसलिए 60 हजार करोड़ रुपए मूल्य के हीरा भण्डार वाली बंदर खदान के लिए बोली लगाने से पूर्व निवेशकों को पूर्ण रूपेण संतुष्ट करने के लिए मध्य प्रदेश शासन द्वारा पन्ना में लगभग डेढ़ माह के अंतराल में दूसरी बार हीरों की अवलोकन एवं अध्ययन कार्यशाला का आयोजन किया जा रहा है। जिसमें प्रत्येक कंपनी के प्रतिनिधियों को एक दिन का समय देते हुए खनिज विभाग के जानकारों के द्वारा उन्हें खदान के संबंध में आवश्यक जानकारी प्रदान करते हुए उनकी जिज्ञासाओं का समाधान किया जा रहा है।
कार्यशाला में रखे गए एक हीरे को लैंस के जरिए बारीकी से देखते जिला खनिज अधिकारी रीवा रत्नेश दीक्षित।