मिड-डे-मील की रसोईयाओं का बढ़ाया जाए मानदेय, समूह की अध्यक्ष व सचिव को मिले प्रोत्साहन राशि

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अपनी दस सूत्रीय मांगों का ज्ञापन सौंपने के लिए पन्ना में कलेक्ट्रेट की ओर प्रस्थान करतीं हुई महिलायें।

प्रांतीय महिला स्व सहायता समूह महासंघ ने किया प्रदर्शन

मुख्यमंत्री के नाम सौंपा दस सूत्रीय का मांगों का ज्ञापन

शादिक खान, पन्ना। (www.radarnews.in) प्रदेश के सरकारी स्कूलों व आंगनवाड़ी केन्द्रों में मध्यान्ह भोजन (मिड-डे-मील) योजना संचालित करने वाले महिला स्व सहायता समूहों से सम्बद्ध महिलाओं, रसोईयाओं की समस्याओं के समाधान और न्यायोचित मांगों के निराकरण को लेकर प्रदेश स्तर पर आंदोलन चलाया जा रहा है। इसी क्रम में मंगलवार 2 मार्च को प्रदेश के सभी जिलों में रसोईयाओं व समूह की महिलाओं के द्वारा धरना-प्रदर्शन कर मुख्यमंत्री को सम्बोधित 10 सूत्रीय मांगों का ज्ञापन सौंपा गया। पन्ना जिला मुख्यालय में भी एमडीएम-सांझा चूल्हा संगठन के बैनर तले स्थानीय बड़ा डाकघर तिराहा पर एक दिवसीय धरना दिया। जिसमें जिले भर की रसोईयाओं व स्व सहायता समूहों से जुड़ीं महिलाओं ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। धरना के समापन उपरांत पैदल मार्च निकालकर कलेक्ट्रेट पहुंचीं इन महिलाओं के द्वारा अपनी मांगों के निराकरण हेतु ज्ञापन सौंपा गया। जिसमें सरकारी नीतियों-कार्यक्रमों की व्यवहारिक विसंगतियों की ओर ध्यान आकृष्ट कराते हुए महिलाओं की आत्मनिर्भरता की राह में बड़ी बाधा बताया।
पन्ना के मुख्य डाकघर के सामने प्रांतीय महिला स्व सहायता समूह महासंघ द्वारा आयोजित धरना-प्रदर्शन में उपस्थित रसोईया एवं समूह की महिलायें।
ज्ञापन के माध्यम से मध्यान्ह भोजन योजना, स्कूली बच्चों की ड्रेस सिलाई में छिपे तौर जारी ठेका प्रथा पर रोक लगाने, स्कूल व आंगनवाड़ी केन्द्र से जुड़े निर्माण कार्य स्व सहायता समूहों के माध्यम से कराने तथा तेजी से बढ़ती महंगाई के मद्देनजर मध्यान्ह भोजन योजना की राशि में वृद्धि करने आदि की मांग की गई है। अपनी इन मांगों के निराकरण को लेकर सरकार पर दवाब बनाने की रणनीति के तहत प्रांतीय महिला स्व सहायता समूह महासंघ के द्वारा प्रदेश स्तर पर बड़ा प्रदर्शन करने की योजना बनाई जा रही है। जल्द होने वाले इस प्रदर्शन में करीब 1 लाख महिलाओं के राजधानी भोपाल में जुटने की बात कही जा रही है। ज्ञापन सौंपने वालों में प्रभा त्रिपाठी, रचना तिवारी, रहीमा हुसैन, यशकुमारी यादव, रेखा राय, कमलेश सिंह, उर्मिला नामदेव, मालती सहित बड़ी संख्या में महिलाएं शामिल रहीं।

ये हैं मुख्य मांग

पन्ना में संयुक्त कलेक्ट्रेट के बाहर हाथों में तख्तियां लेकर प्रदर्शन और नारेबाजी करती हुईं स्व सहायता समूहों से जुड़ीं महिलायें। (सभी फोटो- मनीष सारस्वत)
प्रांतीय महिला स्व सहायता समूह महासंघ के द्वारा सौंपे गए ज्ञापन में मांग की गई है कि, कोरोना संकटकाल में अपनी जान जोखिम में डालकर आंगनवाड़ी के बच्चों को घर-घर नाश्ता पहुँचाकर कुपोषण की रोकने में अहम भूमिका निभाने वाली स्व सहायता समूह की महिलाओं को कोरोना योद्धा मानकर 5-5 हजार रुपए की सहायता राशि प्रदान की जाए। स्कूलों में मध्यान्ह भोजन योजना (मिड-डे-मील) को संचालित करने वाले स्व सहायता समूहों की अध्यक्ष-सचिव को प्रतिमाह 1 हजार रुपये की प्रोत्साहन राशि दी जाए।
मध्यान्ह भोजन पकाने वालीं रसोईयाओं का मानदेय 2 हजार से बढ़ाकर 5 हजार रुपए किया जाए। स्कूलों को मिलने वाली कंटीजेंसी राशि (आकस्मिकता निधि) का सदुपयोग हो सके इसके लिए शाला प्रबंधन समिति में समूह को शामिल किया जाए। स्कूलों व आंगनवाड़ी केन्द्रों में होने वाले निर्माण कार्य तथा पुताई का कार्य समूह के माध्यम से कराया जाए। जिससे समूह से जुड़ीं महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने में मदद मिलेगी। लगातार बढ़ती महंगाई के मद्देनजर बच्चों को मीनू अनुसार गुणवत्तापूर्ण मध्यान्ह भोजन वितरण हेतु मध्यान्ह भोजन की राशि प्राथमिक स्कूल में 10 रुपये एवं माध्यमिक स्कूल में 15 रुपए प्रति छात्र करने सहित अन्य मांगें शामिल हैं।